यहाँ हो रही ख़ूब अब मयकशी है ! न कोई बची गांव की वो गली है। यहाँ हो रही ख़ूब अब मयकशी है ! न कोई बची गांव की वो गली है।
ना ही उनसे रार करो बस प्यार करो। ना ही उनसे रार करो बस प्यार करो।
कही और खिलेगा प्यार का फूल तेरे इश्क की मिट्टी में। कही और खिलेगा प्यार का फूल तेरे इश्क की मिट्टी में।
अपने चमन की हर कली को, उसका बागवान, तहे - दिल से प्यार करता था । अपने चमन की हर कली को, उसका बागवान, तहे - दिल से प्यार करता था ।
अपने आप को खामोश रख आज एक कली फिर फूल बनेगी। अपने आप को खामोश रख आज एक कली फिर फूल बनेगी।
प्यार से भरदो झोली खिलने दो नादान कलियाँ। प्यार से भरदो झोली खिलने दो नादान कलियाँ।